अस्पतालों और स्वास्थ्य सेवा प्रदाताओं के लिए राष्ट्रीय प्रमाणन बोर्ड एनएबीएच (NABH) ने एंट्री लेवल प्रमाणन प्रक्रिया को संशोधित किया है ताकि यह प्रक्रिया सरल, त्वरित, डिजिटल और इस्तेमाल में आसान हो सके. एनएबीएच ने इसके लिए एचओपीई (HOPE) नाम से एक नया पोर्टल बनाया है. इसका उद्देश्य देशभर के अस्पतालों सहित स्वास्थ्य सेवा क्षेत्र में अपनी सेवाएं दे रहे छोटी इकाइयों को उनके शुरुआती चरण में ही गुणवत्ता युक्त सेवाओं के लायक बनाना है. इसका लक्ष्य ऐसे स्वास्थ्य सेवा से जुड़े ऐसे संगठनों को गति प्रदान करना भी है जो एनएबीएच प्रमाणन हासिल कर भारतीय बीमा नियामक और विकास प्राधिकरण (IRDA) तथा आयुष्मान भारत से जुड़े लाभ प्राप्त करना चाहते हैं, और इस तरह से देश में एक गुणवत्ता स्वास्थ्य सेवा पारिस्थितिकी तंत्र बनाने में मदद करना चाहते हैं.
होप का काम सिर्फ प्रमाणन तक ही सीमित नहीं है बल्कि यह अस्पतालों और स्वास्थ्य सेवा प्रदाताओं को मरीजों के लिए एक सुगम, सुरक्षित और गुणवत्ता युक्त सेवाएं देने के लिए भी बाध्य करता है. इसमें ऐसे संगठनों के लिए स्वत जानकारी देने वाली एक प्रश्नावली भी है. होप के माध्यम से एक मोबाइल एप्प भी विकसित किया गया है जो अस्पतालों और अन्य स्वास्थ्य सेवा प्रदाताओं को यह सुविधा प्रदान करता है कि वह एनबीएच प्रमाणन हासिल करने के लिए जरूरी सभी शर्तों से संबधित दस्तावेज सीधे अपलोड कर सकें. होप के जरिए आंकलन प्रक्रिया में भी बदलाव किया गया है. इसके माध्यम से प्रौद्योगिकी का इस्तेमाल कर डाटा का संकलन और प्रमाणन किया जाता है.
देश में गुणवत्ता प्रमाणन के लिए वाणिज्य और उद्योग मंत्रालय के तहत 1997 में गठित भारतीय गुणवत्ता परिषद् (क्यूसीआई) एक स्वतंत्र निकाय है. यह देश में गुणवत्ता प्रमाणन और गुणवत्ता को बढ़ावा देने वाली वाली शीर्ष संस्था है. एनएबीएच इस क्यूसीआई का ही एक हिस्सा है. इसका उद्देश्य यह सुनिश्चित करना है कि देश में स्वास्थ्य सेवाएं अंतरराष्ट्रीय मानकों के अनुरूप बन सकें.
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